• Hindi - प्रेतकथा

    अंतिम आरती

    १ कस्बे के बाहर, पुराने बरगद और पीपल के पेड़ों की छाँव तले एक सदियों पुराना गिरिजाघर खड़ा है—टूटी-फूटी दीवारों, झुकी हुई छत और काई से ढकी मूर्तियों के साथ। कभी यह जगह क्रिसमस की भव्यता का केंद्र हुआ करती थी। दूर-दूर से लोग यहाँ आते, प्रार्थनाएँ होतीं, और रंग-बिरंगी रोशनियाँ गिरिजाघर की खिड़कियों से छनकर बाहर फैल जातीं। लेकिन वक्त की मार, मौसम की बेरहमी और एक अजीबोगरीब हादसे ने इसे वीरान कर दिया। अब यह सिर्फ एक खंडहर है, जहाँ हवा से चरमराती दरवाजों की आवाज़ सुनाई देती है और टूटी हुई काँच की खिड़कियाँ रात में चमकते…